लहुरियादह (देवहट) के ग्रामीणों का पानी का सपना आजादी के 76 साल बाद हुआ साकार
-जिलाधिकारी के संकल्प से ग्रामीणों को मिला हर घर नल योजना से दरवाजे तक पानी
-डीएम ने हवन पूजन कर पेयजल आपूर्ति योजना का किया शुभारम्भ
-नल की टोटी से पानी गिरते ही ग्रामीणों के चेहरो पर दिखी खुशी, महिलाओं ने व्यक्त किया आभार
-बुजुर्ग महिला ने कहा पहली बार गांव में नल से मिला पानी
मीरजापुर 29 अगस्त 2023 (सच्ची बातें)। हलिया ब्लॉक के ग्राम लहुरियादह (देवहट) के लिए डीएम दिव्या मित्तल भगीरथ बन गईं। आजादी के 76 वर्ष बाद ग्रामीणों का पानी का सपना साकार हुआ। जिलाधिकारी दिव्या मित्तल के संकल्प से ग्रामीणों को 29 अगस्त को हर घर नल योजना के तहत दरवाजे तक पानी पहुंचने पर ग्रामीणों के चेहरों पर खुशी देखने को मिली। गांव की महिलाओं ने जिलाधिकारी का माल्यार्पण कर आभार व्यक्त किया।
जिलाधिकारी दिव्या मित्तल ने लहुरियादह के देवहट में वैदिक मंत्रोच्चार के साथ हवन-पूजन कर नल को चालू कर पेयजल आपूर्ति का शुभारम्भ किया। नल की टोटी से पानी गिरते ही ग्रामीण चहक उठे। गांव की बुजुर्ग महिलाओं ने जिलाधिकारी के पास जाकर उनका माल्यार्पण करते हुए कहा कि अपनी उम्र के अन्तिम पड़ाव में इस गांव में नल से पानी देखने को मिला।
जिलाधिकारी ने कहा कि जैसे-जैसे यह कार्य आगे बढ़ा अथवा जो कार्य चल रहा था, उसमें कई कठिनाइयां भी आईं, परन्तु सभी दिक्कतों का सामना करते हुए इस गांव में पानी पहुंचाने का संकल्प पूर्ण हुआ। उम्मीद करते हैं कि इस गांव का उत्तरोत्तर विकास हो तथा यह पानी लोगों को मिलता रहे।
जिलाधिकारी ने कहा कि मेरे लिए यह एक बहुत खुशी का पल है, क्योंकि यह एक बहुत कठिन कार्य था। इस सम्बन्ध में लोगों द्वारा यह भी कहा गया कि यह कार्य बहुत कठिन और असंभव है। कार्य नहीं हो सकता। फिर भी पूरी टीम ने मेहनत की, जिससे आज यहां पानी पहुंचा।
जिलाधिकारी ने कहा कि जब वह मीरजापुर में इस पद पर आई थीं तो मीडिया बंधुओ के साथ प्रथम बार बैठक की। उसमें मुझे कुछ पत्रकार बंधुओं द्वारा बताया गया कि एक गांव ऐसा है लहुरियादह, जहां पानी नहीं है। पानी नहीं होने से प्रधान का सारा पैसा पानी में जाता है, जिससे वहां पर और कोई विकास नहीं हो पाता है।
उन्होंने कहा कि लहुरियादह के निरीक्षण में देखा कि यहां पर एक कुआं है। उस कुएं के पास तीन महिलाएं बाल्टी से पानी भर रही थीं। निरीक्षण के पश्चात जल निगम के अधिकारियों के साथ बैठक की। बैठक में निर्णय लिया गया कि ग्राम लहुरियादह में कैसे भी, किसी भी परिस्थिति में पानी पहुंचाना ही है।
जिलाधिकारी ने कहा कि सभी अधिकारियों ने मिलकर बीएचयू के साइंटिस्ट, भूगर्भ विभाग के अधिकारी, जल जीवन मिशन के अधिकारी, मुख्य विकास अधिकारी, अपर जिलाधिकारी नमामि गंगे, उप जिलाधिकारी को बुलाया गया। फिर एक कार्य योजना बनी। एक विकल्प निकला। उसके बाद कार्य आगे बढ़ा।
जिलाधिकारी ने यह भी बताया कि जब पहली बार यहां पर आई थीं तो प्रेमकली ने गांव में स्कूल खोलने की मांग की थी। यहां के बच्चे दूर स्थित स्कूल जाते हैं, जिससे काफी परेशानी होने से बीच में ही अपनी शिक्षा छोड़ देते हैं। उन्होने कहा कि इस समस्या के निदान के लिए शासन को पत्राचार किया गया तथा वहां से प्राथमिकता के आधार पर स्कूल की स्वीकृति मिली और बजट आते ही स्कूल का निर्माण भी प्रारम्भ करा दिया जायेगा।
इस दौरान एडीएम नमामि गंगे देवेन्द्र प्रताप सिंह, उप जिलाधिकारी लालगंज भरत लाल सरोज, खण्ड विकास अधिकारी राजीव शर्मा, संजय सिंह, प्रधान संघ अध्यक्ष शिवबाबू सेठ, पिंटू केसरी, धीरज केसरी आदि मौजूद रहे।
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